उल्हासनगर:
उल्हासनगर महानगर पालिका में कार्यरत एक महिला कनिष्ठ लिपिक ने अतिरिक्त आयुक्त जमीर लेंगरेकर पर गंभीर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है। महिला कर्मचारी ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है, एफआईआर क्रमांक 0986 दिनांक 27.08.2024 जिसमें उसने कहा है कि 2022 से 2023 के बीच लेंगरेकर उसके केबिन में बार-बार अश्लील बातचीत करते रहे।
महिला कर्मचारी का आरोप है कि उसने लेंगरेकर को इस प्रकार की बातचीत करने से रोकने की कोशिश की, लेकिन वह नहीं रुके। इसके बाद, उन्होंने उल्हासनगर महानगर पालिका को 'विशाखा समिति' में लिखित शिकायत दर्ज कराई। समिति ने इसकी जांच की और 5 सितंबर, 2023 को अपनी रिपोर्ट सौंपी, लेकिन तत्कालीन कमिश्नर अजीज शेख ने कोई कार्रवाई नहीं की।
महिला ने यह भी कहा कि लेंगरेकर ने उन्हें परेशान करने के लिए उनके स्थानांतरण की कोशिश की। इस मामले की गंभीरता को देखते हुए उल्हासनगर महानगर पालिका में हड़कंप मच गया है। पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू दी है और सभी आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं।
इस एफआईआर के विषय में उल्हासनगर अतिरिक्त आयुक्त ज़मीर लेंग्रेकर ने अपने उपर आरोप को झूठा बताते हुए कहा कि उल्हासनगर महानगरपालिका के विज्ञापन विभाग में लिपिक और विज्ञापन एजेंसी ने कंप्यूटराइज्ड घोटाला किया है। इस संबंध में 2023 में लेखापरीक्षण करने की कार्रवाई शुरू की गई। अनुमति के दोगुने-तीगुने विज्ञापन लगाना, बिना अनुमति होर्डिंग लगाना और महानगरपालिका का राजस्व बर्बाद करने जैसी बातें सामने आईं, जिसके बाद संबंधित विज्ञापन एजेंसी पर मामला दर्ज किया गया और उस पर दंडात्मक कार्रवाई शुरू की गई।
इससे कुछ असामाजिक तत्वों और कार्यालय के कुछ असंतुष्ट लोगों ने हाल ही में इस मामले में हुई कुछ घटनाओं के कारण हम पर होने वाली प्रशासनिक कार्रवाई से बचने के लिए आधारहीन आरोप लगाए हैं। विज्ञापन विभाग में हुआ घोटाला घाटकोपर घटना से पहले ही हमने लेखापरीक्षण के लिए भेजा था।
घाटकोपर होर्डिंग दुर्घटना के बाद शहर में अनधिकृत होर्डिंग पर कार्रवाई की गई और उस पर आपराधिक मामला दर्ज किया गया। इस वजह से कार्रवाई टालने और संबंधित व्यक्ति को फिर से उसी विभाग में रखने के लिए विभिन्न माध्यमों से दबाव डाला जा रहा था। उस दबाव के आगे न झुकने के कारण कुछ असंतुष्ट लोगों ने इस तरह का मामला दर्ज किया है, और इस संबंध में महानगरपालिका के विज्ञापन विभाग में की गई अनियमितताओं के सभी सबूत उपलब्ध हैं।
महानगरपालिका के माननीय आयुक्त की अध्यक्षता में एक पक्षपात समिति गठित की गई है, और की गई अनियमितताओं के बारे में यह समिति जांच कर रही है। साथ ही संबंधित व्यक्ति की शिकायत विशाखा समिति के सामने लंबित है।
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