May 2024

 






कल्याण:

महाराष्ट्र में शिवसेना में फूट के बीच कल्याण लोकसभा सीट पर चुनाव लड़ने वाले मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के बेटे श्रीकांत शिंदे के लिए यह चुनाव काफी अहम है. श्रीकांत शिंदे ने 2014 में राजनीति में प्रवेश किया, तत्कालीन अविभाजित शिवसेना के उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ा और 2,50,749 मतों के अंतर से जीत हासिल की। उन्होंने 2019 के आम चुनावों में अंतर को बढ़ाकर 3,44,343 कर दिया। लेकिन तब से राजनीतिक परिदृश्य काफी बदल गया है, क्योंकि उनके पिता ने पार्टी प्रमुख उद्धव ठाकरे के खिलाफ बगावत कर दी और जून 2022 में मुख्यमंत्री बनने के लिए भाजपा से हाथ मिला लिया। जी हाँ, महाराष्ट्र के 48 संसदीय निर्वाचन क्षेत्रों में से एक कल्याण संसदीय क्षेत्र एक हाई-प्रोफाइल सीट है जिसका प्रतिनिधित्व मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के बेटे डॉ. श्रीकांत शिंदे करते हैं।  2024 के लोकसभा चुनावों में, डॉ श्रीकांत शिंदे इस सीट पर लगातार तीसरी बार नजर गड़ाए हुए हैं और उनका मुकाबला शिवसेना (यूबीटी) की वैशाली दरेकर-राणे से है। इस निर्वाचन क्षेत्र में मतदान करीब 45 प्रतिशत हुआ है। और अब सबकी निगाहें चार जून को होने वाले मतों की गिनती पर टिकी है. यूँ तो कल्याण संसदीय सीट से 28 उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं, लेकिन मुख्य मुकाबला मौजूदा सांसद श्रीकांत शिंदे और शिवसेना (यूबीटी) की वैशाली दरेकर-राणे के बीच है. गौरतलब हो कि एक आर्थोपेडिक सर्जन से राजनेता बने डॉ. श्रीकांत शिंदे ने पहली बार 2014 में इस सीट से जीत हासिल की और बाद में 2019 के चुनावों में फिर से चुनाव जीतने में सफल रहे। हालांकि, इस बार उन्हें महाराष्ट्र में बदली हुई राजनीतिक गतिशीलता के तहत कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ रहा है। क्योंकि इस बार लड़ाई शिवसेना बनाम शिवसेना है और उद्धव ठाकरे की अगुआई वाली प्रतिद्वंद्वी शिवसेना (यूबीटी) ने श्रीकांत शिंदे के खिलाफ पूर्व नगरसेविका वैशाली दरेकर-राणे को चुनावी मैदान में उतारा है। राणे ने 2009 में महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के उम्मीदवार के तौर पर इस सीट पर एक लाख से ज़्यादा वोट हासिल किए थे, हालांकि वे हार गईं थी। वैशाली दारकेकर-राणे ने दावा किया कि लोग मौजूदा शासन से परेशान हैं। उन्होंने कहा, "सबसे पहले और सबसे महत्वपूर्ण बात, वे केंद्र में मौजूदा सरकार के बढ़ते जीवन-यापन और व्यवहार से चिंतित हैं। सत्ता का बेतहाशा दुरुपयोग, दागी लोगों को अपनी पार्टी में शामिल करना और अपनी इच्छानुसार कानून को तोड़ना लोगों को स्वीकार्य नहीं है। 

कल्याण लोकसभा सीट के इतिहास पर एक नजर   

-कल्याण लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र महाराष्ट्र राज्य के 48 लोकसभा निर्वाचन क्षेत्रों में से एक है। यह एक सामान्य श्रेणी की संसदीय सीट है। इस निर्वाचन क्षेत्र का गठन 2008 में परिसीमन अभ्यास के भाग के रूप में किया गया था। इसके पहले यह ठाणे लोकसभा के अंतर्गत आती थी। कल्याण लोकसभा सीट के इतिहास पर नजर डालें तो यह सीट शिवसेना-बीजेपी का गढ़ माना जाता है. यहां से बीजेपी के राम कापसे 1989 से 1996 तक चुनाव जीतते आए. भारत के चुनाव आयोग के अनुसार, 2019 में मतदाताओं की कुल संख्या 19 लाख 65 हजार 676 थी। मतदान प्रतिशत लगभग 45.1 प्रतिशत रहा। 

महाराष्ट्र में बीजेपी शिवसेना के गठबंधन होने के बाद यह सीट अविभाजित शिवसेना के खाते में चली गई. शिवसेना ने प्रकाश परांजपे को टिकट दिया वो जीतकर भी आए. वो 1996 से 2008 तक लगातार जीते और सांसद रहे। उनके निधन के बाद शिवसेना ने प्रकाश परांजपे के बेटे आनंद परांजपे को टिकट दिया. आनंद ने पिता की विरासत को संभाला और चुनाव जीते। आनंद परांजपे कल्याण से सांसद चुने गए लेकिन कुछ ही समय बाद शिवसेना के साथ उनकी कटुता पैदा हो गई. इसका असर यह हुआ कि शिवसेना से वो दूर हो गए और उन्होंने एनसीपी की सदस्यता ले ली. 2014 में आनंद परांजपे एनसीपी से चुनाव में उतरे और हार गए.

कल्याण लोकसभा क्षेत्र में छह विधानसभा क्षेत्र शामिल हैं, जिनमें से तीन वर्तमान में भाजपा के पास हैं और एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना गुट, एमएनएस और एनसीपी (एसपी) के पास एक-एक है। 2019 के चुनावों के दौरान, कल्याण में कुल 45.31 प्रतिशत मतदान हुआ था। 

2009 में पहली बार हुए चुनावों के बाद से शिवसेना ने सभी चुनावों में जीत हासिल की है। 2009 में आनंद परांजपे ने एनसीपी उम्मीदवार वसंत डावखरे के खिलाफ 24 हजार 209 वोटों के अंतर से जीत हासिल की थी। 2009 में, शिवसेना ने अपने उम्मीदवार श्रीकांत शिंदे के साथ सीट बरकरार रखी, जिसने एनसीपी से चुनाव लड़ने वाले आनंद परांजपे को हराया। श्रीकांत शिंदे वर्तमान मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के बेटे हैं। 2019 के चुनावों में श्रीकांत शिंदे ने पार्टी के लिए सीट बरकरार रखी। उन्होंने एनसीपी के बाबाजी बलराम पाटिल के खिलाफ 3 लाख 44 हजार 343 वोटों के अंतर से जीत हासिल की। इस बार, शिवसेना ने श्रीकांत शिंदे को फिर से उम्मीदवार बनाया है। शिवसेना (यूबीटी) ने मनसे की पूर्व नेता और नगरसेविका वैशाली दरेकर- राणे को उम्मीदवार बनाया है।

जनगणना 2011 के आंकड़ों के अनुसार कल्याण संसदीय क्षेत्र में औसत साक्षरता दर 74.39 प्रतिशत थी। लगभग 19 लाख 65 हजार 676 की संसदीय सीट पर शहरी मतदाता लगभग 84 प्रतिशत मतदाता हैं। इस सीट पर अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के मतदाता क्रमशः 8.5 प्रतिशत और 2.3 प्रतिशत हैं।

2014 का जनादेश 2014 लोकसभा चुनाव में कल्याण सीट से शिवसेना के श्रीकांत शिंदे ने जीत दर्ज करते हुए 4,40,892 वोट हासिल किए. वहीं कांग्रेस के आनंद परांजपे को 1,90,143 वोट मिले।

2019 का जनादेश इस चुनाव में शिवसेना ने यहां से श्रीकांत एकनाथ शिंदे को टिकट दिया था, तो वहीं बाबाजी बलराम पाटिल एनसीपी के प्रत्याशी थें. बहुजन समाज पार्टी ने यहां से रवींद्र केने को उम्मीदवार बनाया था. इस सीट पर शिवसेना के श्रीकांत एकनाथ शिंदे ने अपनी जीत को बरकार रखा, उन्हें 5,59,723 वोट प्रप्त हुए. जबकि एनसीपी के बाबाजी बलराम पाटिल को 2,15,380 वोट मिले और वीबीए के संजय हेदाओ को 65,572 वोट मिले. बसपा के रवींद्र केने को महज 9,627 वोट प्राप्त हुए. कल्याण लोकसभा सीट पर 42.99 फीसदी मतदान हुआ था।







 








उल्हासनगर:

 कांग्रेस पार्टी की पूर्व नगरसेविका अंजलि साल्वे ने कोलेब्रो कंपनी द्वारा टैक्स रसीद बाँटने वाली बचत गट की महिलाओं का बकाया भुगतान 25 मई तक नहीं करने पर उल्हासनगर मनपा मुख्यालय के सामने भूख हड़ताल करने की चेतावनी मनपा के प्रशासक/आयुक्त अजीज शेख को दी थी। इसका असर ये हुआ कि अब उन महिलाओं को जल्द ही बकाया रकम मिल जायेगा। 

उल्हासनगर मनपा  प्रशासन द्वारा लिखित आश्वासन दिया गया है कि स्वयं सहायता समूह (बचत गट) की जिन २०० महिलाओं द्वारा टैक्स रसीदें बांटी गई और उनका 8 महीने से बकाया कुल ४२ लाख रुपये का भुगतान नहीं हुआ है वो कोलेब्रो कंपनी द्वारा दो-तीन दिन में किया जाए। कांग्रेस की पूर्व नगरसेविका अंजली साल्वे ने कई बार मनपा आयुक्त अजीज शेख से मिलकर बचत गट की महिलाओं द्वारा बांटी गई टैक्स रसीद का भुगतान कोलब्रो कंपनी द्वारा करवाने का अनुरोध किया।  अंजली साल्वे का कहना था कि महिलाओं द्वारा रसीदें बांटते हुए आठ से दस महीने हो गए, जबकि कोलेब्रो कंपनी अपना बिल खुद निकाल रही है, फिर भी महिलाओं को उनके काम का भुगतान नहीं किया जा रहा है, यह मनपा के लिए शर्म की बात है। महिलाओं को रोजगार के लिए पैसा नहीं मिल रहा है, उन्हें परेशान किया जा रहा है।  बचत समूह की महिलाएं बहुत जरूरतमंद महिलाएं हैं, उनके काम का भुगतान तुरंत किया जाना चाहिए। रसीदें बाँटने पर कम से कम एक महीने के भीतर उसका भुगतान उन्हें किया जाना चाहिए और इसकी जिम्मेदारी मनपा प्रशासन को लेनी चाहिए। अपने निवेदन में अंजलि साल्वे ने कहा था कि २५ मई तक भुगतान नहीं हुआ तो सभी बचत समूह की महिलाओं के साथ कांग्रेस पार्टी आमरण अनशन पर बैठेगी। दो दिन पूर्व समय पर वेतन न मिलने के कारण शहाड स्थित मनपा के अस्पताल के एक सुरक्षा गार्ड ने आत्महत्या कर ली। ऐसी घटना दोबारा न हो इसके लिए स्वयं सहायता समूह की सभी महिलाओं के साथ मनपा प्रशासन से जवाब-तलब करने के लिए कांग्रेस पार्टी की ओर से गुरुवार दोपहर १२ बजे मनपा मुख्यालय के प्रवेश द्वार के सामने धरना आंदोलन किया गया जो सफल रहा। मनपा प्रशासन की ओर से उपायुक्त डॉ. सुभाष जाधव और टैक्स इंस्पेक्टर जेठानंद करमचंदानी ने आंदोलनकारियों से मुलाकात की और लिखित आश्वासन दिया कि चूंकि मनपा द्वारा 29/05/2024 को कोलेब्रो ग्रुप को भुगतान किया गया था, इसलिए बिल वितरण 30/05/2024 से महिला स्वयं सहायता समूह का भुगतान कार्य प्रारंभ कर दिया जायेगा तथा तीन से चार दिन में पूर्ण भुगतान कार्य पूर्ण कर लिया जायेगा। इसके साथ ही प्रदर्शनकारियों की दूसरी मांग है कि बिल आवंटन का काम सीधे कोलेब्रो ग्रुप से मनपा को कराया जाए, इस पर जल्द ही आयुक्त से चर्चा करने, विधानसभा में विपक्षी दल के नेता विजय वडेट्टीवार द्वारा कोलेब्रो कंपनी के अवैध लेनदेन की जांच की मांग की रिपोर्ट जल्द ही देने का आश्वासन उपायुक्त डॉ. सुभाष जाधव द्वारा देने के बाद कांग्रेस द्वारा आंदोलन वापस ले लिया गया।







 







उल्हासनगर: 

 मुंबई के घाटकोपर में बीते १३ मई को हुए होर्डिंग हादसे के मद्देनजर, राज्य के अन्य स्थानों में प्री-मानसून अवधि के साथ-साथ प्री-मानसून अवधि के दौरान जानमाल के नुकसान को रोकने के लिए उल्हासनगर महानगरपालिका क्षेत्र में सभी होर्डिंग्स का संरचनात्मक ऑडिट (स्ट्रक्चरल ऑडिट) किया जाये तथा निरीक्षण के उपरान्त अवैध एवं खतरनाक होर्डिंग्स को तत्काल हटाया जाये एवं संबंधित के विरूद्ध नियमानुसार कड़ी कार्यवाही की जाए, ऐसा आदेश मनपा के प्रशासक एवं आयुक्त डाॅ.अजीज शेख ने सभी सहायक आयुक्त, प्रभाग समितियों को दिया था. मनपा केअतिरिक्त आयुक्त (शहर) जमीर लेंगरेकर के निर्देशानुसार एवं उपायुक्त किशोर गवस के मार्गदर्शन में, सहायक आयुक्त, प्रभाग समिति ने अपने अधिकार क्षेत्र में 21 मई से शहर में अनधिकृत होर्डिंग्स के खिलाफ कार्रवाई शुरू कर दी है और अतिरिक्त आयुक्त जमीर लेंगरेकर द्वारा 28 मई को जारी आदेश के अनुसार उल्हासनगर में विभिन्न स्थानों पर अनधिकृत होर्डिंग्स को हटाकर शहर में अनधिकृत होर्डिंग्स लगाने वाले जगह मालिकों और एजेंसी मालिकों के खिलाफ कार्रवाई शुरू की गई है। मनपा क्षेत्र में 30 मई को सहायक आयुक्त, प्रभाग समिति द्वारा भारतीय दंड संहिता की धारा 336, महाराष्ट्र नगर निगम अधिनियम की धारा 244, 245 और महाराष्ट्र संपत्ति विरूपण निवारण अधिनियम 1995 की धारा ३ के तहत अपराध दर्ज किए गए हैं। अब से मनपा के माध्यम से प्रतिदिन अनाधिकृत होर्डिंग और बिना अनुमति के विज्ञापन बोर्डों पर सख्त कार्रवाई जारी रखने का आदेश उल्हासनगर मनपा के प्रशासक एवं आयुक्त ने सभी सहायक आयुक्त, प्रभाग समितियों को जारी किया है। 

पंचशील एजेंसी के मालिक समेत तीन के विरुद्ध मामला दर्ज। उल्हासनगर शहर में बिना अनुमति के अनाधिकृत होर्डिंग्स लगाने वाले जगह मालिकों एवं एजेंसी मालिकों के विरूद्ध मनपा के प्रभाग समिति तीन द्वारा दिनांक ३० मई को मध्यवर्ती पुलिस थाना में दो जगह मालिकों रामदास रघुनाथ वेताल तथा नरसू निहलानी एवं एक पंचशील एजेंसी के मालिक सागर शर्मा के खिलाफ अपराध पंजीबद्ध किया गया है। बता दें कि शहर में सबसे ज्यादा अवैध होर्डिंग्स पंचशील एजेंसी द्वारा लगवाया गया है और मनपा ने उसके खिलाफ पूर्व में कार्रवाई की नोटिस भी जारी की थी।








 





उल्हासनगर : 

उल्हासनगर। पिछले कई सालों से उल्हासनगर शहर में वेश्यावृत्ति का धंधा फल फूल रहा है। खासकर दर्जनों ऐसे लॉज हैं जहां सेक्स रैकेट चलने की खबर सुर्ख़ियों में रही है और कई बार पुलिस ने छापा भी मारा है। अब एक ऐसा मामला सामने आया है जिसे जानकर आप भी हैरत में पड़ जायेंगे, वो यह कि एक लॉज मालिक वेश्यावृत्ति के लिए थाईलैंड से लड़कियां मंगा रखी हैं । जी हाँ, खबर यह है कि थाई लड़कियों के साथ कुछ मजेदार समय बिताने के लिए बैंकॉक और पटाया की ओर जाने वाले युवाओं और बुजुर्गों के बीच थाईलैंड की लड़कियों के प्रति दीवानगी को देखते हुए, उल्हासनगर के कैंप तीन, १७ सेक्शन परिसर में व्यस्त मुख्य सड़क पर “धन गुरु नानक गौशाला”के करीब स्थित “सितारा लॉजिंग एंड बोर्डिंग” के मालिक ने ४ थाई लड़कियों को लाया है, जो स्थानीय लोगों के बीच इस कदर लोकप्रिय हुई हैं, कि यहां  लोग अपनी भारी आने तक बेसब्री से इंतजार करते हैं । जानकार सूत्रों के अनुसार इन थाई लड़कियों के साथ नेपाल और कुछ उत्तर पूर्वी राज्यों की लड़कियों को ग्राहकों के सामने “पेश" किया जाता है। परिणामस्वरूप इस लॉज के व्यवसाय में भारी उछाल आया है। हालांकि यह “विदेशी वेश्यावृत्ति” रैकेट पिछले २ महीनों से फल-फूल रहा है। लेकिन स्थानीय पुलिस इस पर आंखें मूंदे बैठी है।  इस लॉज से खुलेआम संचालित विदेशी लड़कियों से जुड़े इस सेक्स के रैकेट से न केवल इस क्षेत्र में अपनी दुकानें और प्रतिष्ठान रखने वाले व्यापारियों को भारी असुविधा हो रही है, बल्कि इस वेश्यालय में आने वाले युवाओं के जीवन को भी खतरे में डाल रही है, जिससे उनमें बीमारियों की संभावना बढ़ रही है क्योंकि थाईलैंड एक समय में दुनिया की “एड्स” राजधानी के रूप में बदनाम था। वहीं युवाओं से भरे ऐसे वेश्यालय की उपस्थिति निश्चित रूप से समाज के लिए एक बड़ी चिंता का कारण है। बहरहाल पुलिस विभाग को इस सेक्स रैकेट के खिलाफ तुरंत कड़ी कार्रवाई करने की जरूरत है क्योंकि इस सेक्स रैकेट में थाई लड़कियों का शामिल होना निश्चित रूप से उल्हासनगर में एक नया चलन शुरू करेगा जो आगे चलकर खतरनाक भी साबित हो सकता है।










 








उल्हासनगर : 

आज उल्हासनगर स्टेशन रोड  रिद्धि सिद्दिस किड्स फन अड्डा, उल्हासनगर ३ स्थित लोकसभा चुनाव में ज्यादा से ज्यादा वोट कैसे हो उस पर  चर्चा  हेतु उल्हासनगर शोप्सकीपर्स एसोसिएशन स्टेशन रोड के व्यापारियों की मीटिंग रखी गई। इस मीटिंग में  प्रमुख पदाधिकारी उपस्थित रहे जिसमें प्रमुख उपस्थिति चेयरमैन अजीत चावला, उपचेयरमैन चन्दर मेथाइ, अध्यक्ष दिलीप रामनानी, सचिव सुनील लालवानी, राजेश सॉ , दीपक रामनानी, महेंद्र शर्मा, लकी तलरेजा, अनिल मेंघवानी, गुलशन हरिसिंघानी अध्यक्ष ह्यूमन वेलफेयर एसोसिएशन, सहित इस जागरूकता अभियान बैठक में हिस्सा लिया व अपने अपने विचार व्यक्त कि।    कई व्यापारियों ने व्यापारियों पर हो रहे हमले, फ्लाईओवर ब्रिज पर हो रहे अपराद्दिक मामलो पर ठोस कदम उठाने के अपील की। ट्रैफिक  की समस्या,  ट्रैफिक वार्डन के ड्यूटी पर भी संस्था के पदाधिकारीयो ने आवाज उठाई। मनपा प्रशासन की तरफ़ से चुनाव प्रभारी उपायुक्त किशोर गावस अतिरिक्त आयुक्त, डिप्टी इंजीनियर सेवकानी उपस्थित रहे।  इस बैठक का मुख्य उद्देश्य चुनाव में वोटिंग परसेंटेज कैसे बढे, कैसे वोटरों को चुनाव के लिए रिजाया जाय।







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