आनंद कुमार शर्मा:
इसके बावजूद लोगों की लापरवाही और प्रशासन की नरमाई से कोरोना दूसरी बार कल्याण से सटे उल्हासनगर शहर को अपनी गिरफ्त में लेने को तैयार है।
अगस्त महीने से कम हो रहे कोरोना संक्रमण के मुख्य कारण जुलाई महीने में हुआ लॉकडाउन और पूरे शहर में कई गयी जंतुनाशक फवारणी ने संक्रमण को रोका था।
लेकिन पिछले १ महीने से पूरी तरह बाजारों को खोलने और सरकारी निर्देशों का सख्ती से पालन न होने,
शहर में जंतुनाशक फवारणी न होने,
व्यापारियों द्वारा दुकानों में लोगों को सोशल डिस्टनसिंग का पालन न करने,
प्रतिबंधित गुटखा, पान तम्बाकू, सिगरेट का खुलेआम बिक्री तथा सार्वजनिक स्थलों पर सेवन करके थुकना और धूम्रपान करना,
होम डिलीवर - किचन के नाम पर होटलों, बार और रेस्टोरेंट पर सर्विस मिलना,
शहर में पहले की तरह रात १२ बजे तक लोगों का बेफ़िक्र घूमना.., जैसी अनेक कारणों से कोरोना का कहर दूसरी बार अपने पैर पसारने को तैयार है।
सबसे मुख्य बात यह है कि प्रशासन और अधिकारी सब कुछ देख कर भी अनदेखी कर रहा है लेकिन कोरोना संक्रमण अपना काम निरंतर करने में सफल हो रहा दिखाई देने लगा है।
द न्यू आज़ादी टाईम्स ने पहले भी प्रशासन को पूरे शहर में एक दिन साप्ताहिक अवकाश और उस दिन जंतुनाशक फवारणी करने की सलाह दी गयी थी जिसे आज हम फिर से मनपा प्रशासन को आग्रह करते है कि तुरंत फैसला लेते हुए उल्हासनगर शहर को कोरोना के कहर से बचाया जा सके।
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